Radha rani hame bhi bata de jara राधा रानी हमे भी बता दे ज़रा

 कान्हां की तस्वीर पे, रख के राधे हाथ,

सच्ची सच्ची बोलना, हम पूछे जो बात।
राधा रानी हमें भी बता दे ज़रा,
तेरा दीवाना कैसे हुआ सांवरा,
राधे राधे रटे हर घड़ी बाँवरा,
तेरा दीवाना कैसे हुआ साँवरा,
राधा रानी हमें भी बता दे ज़रा,
तेरा दीवाना कैसे हुआ सांवरा।

तुम ना आये तो जमुना पे आता नहीं,
तुम ना हो तो ये बंसी बजाता नहीं,
तेरी पानी सी लस्सी भी हँस के पिए,
हम खिलाये तो माखन भी खाता नहीं,
हम खिलाये तो माखन भी खाता नहीं,
जादू टोना, जादू टोना बता कौन सा है करा,
जादू टोना बता कौन सा है करा,
तेरा दीवाना कैसे हुआ सांवरा,
राधा रानी हमें भी बता दे ज़रा,
तेरा दीवाना कैसे हुआ सांवरा।

तेरी गलीयो के चक्कर लगाने लगा,
रोज़ बरसाने में आने जाने लगा,
चूड़ी वाली कभी मेहंदी वाली कभी,
रूप निश दिन नए ये बनाने लगा,
रूप निश दिन नए ये बनाने लगा,
दे जवाब, दे जवाब आज तू सोलह आने खरा,
तेरा दीवाना कैसे हुआ सांवरा,
राधा रानी हमें भी बता दे ज़रा,
तेरा दीवाना कैसे हुआ सांवरा।

कल तलक जो चरणजीत का मीत था,
जो निभाता सदा प्रीत की रीत था,
उसकी बंसी तेरे गीत गाने लगी,
जिसकी धुन में लिखा मैंने हर गीत था,
जिसकी धुन में लिखा मैंने हर गीत था,
रह गया, रह गया प्रेम मेरा धरा का धरा,
तेरा दीवाना कैसे हुआ सांवरा,
राधा रानी हमें भी बता दे ज़रा,
तेरा दीवाना कैसे हुआ सांवरा।

अंजनी के लाला ने,दुनिया में नाम कर दिया।। Choti umar me tune kaisa kamal kar diya

 लाल देह लाली लसे,अरु धरि लाल लंगूर ।

बज्र देह दानव दलन,जय जय जय कपि सूर


छोटी उम्र में  तूने कैसा,कमाल कर दिया।

अंजनी के लाला ने,दुनिया में नाम कर दिया।।


छोटी उम्र में तूने,सूरज को मुख में ले लिया

अंजनी के लाला ने कैसा कमाल कर दिया।

शंकर सुवन केसरी नंदन, तेज प्रताप महा जग वंदन।

राम जी के चरणों में शत शत वंदन।।

अंजनी के लाला ने दुनिया में नाम कर दिया।

बालापन में हनुमान ने सूरज को दबाया था

 बचपन में जब हनुमान ने वल अपना दिखलाया था

फल समझ के सूरज को मुख में आन दबाया

देख अन्धेरा पृथ्वी पर भगवान पास में आये,

अटल वरदान दिये हनुमत को सूरज मुख से छुड़ाया

देवताओं ने भी तुमको ऐसा वरदान दिया अंजनी के लाला ने दुनिया में नाम कर दिया

मेघनाद ने लक्ष्मण जी के बाण लगाया ऐसा था 

आयी मूर्छा गिरे पृथ्वी पर लक्ष्मण होश गवाया था

दोहा-

रो रहे भगवान लखन धर गोदी में

क्या करु हनुमान सिया गई चोरी में।।

आयी मूर्छा गिरे पृथ्वी पर लक्षमण होश गवाया था 

देखी हालत जब लखन लाल की, द्रोणागिरी को धाए थे

बूटी जब वो समझ न आई, पर्वत दिया उठाये

हनुमत ने लक्ष्मण जी को, जीवनदान दिया।

अंजनी के लाला ने,दुनिया में नाम कर दिया।


Prabhu ko gar bhulaoge bande

 प्रभु को अगर भूलोगे बन्दे,बाद बहुत पछताओगे,

पैसे से भोजन लाओगे,भूख कहा से लाओगे,

पैसे से भोजन लाओगे,भूख कहा से लाओगे,

प्रभु को अगर भूलोगे बंदे,बाद बहुत पछताओगे ॥


पैसे के खातिर तू बन्दे,करता रहा हेरा फेरी,

घी में डालडा, डालडा में घी,करते नही तनिक देरी,

सुंदर वक़्त को कब तक बन्दे,व्यर्थ में यू ही गवाओगे,

पैसे से बिस्तर लाओगे,नींद कहा से लाओगे,

प्रभु को अगर भूलोगे बंदे,बाद बहुत पछताओगे ॥


साबुन से इस् तन को बन्दे,धोता रहा तू मल-मल के,

मन तो तेरा गंदा रह गया,तीरथ करता चल-चल के,

प्रभु शरण में नही गए तो,बाद बहुत पछताओगे,

पैसे से गहना लाओगे,रूप कहा से लाओगे,

प्रभु को अगर भूलोगे बंदे,बाद बहुत पछताओगे ॥

संगीत है शक्ति ईश्वर का,इसका ही गुणगान करो,

मन को बांधो तन को साधो,कभी नही अभिमान करो,

अगर साधना नही करोगे,अंत समय पछताओगे,

पैसे से सरगम सीखोगे,दर्द कहा से लाओगे,

प्रभु को अगर भूलोगे बंदे,बाद बहुत पछताओगे ॥


प्रभु को अगर भूलोगे बन्दे,बाद बहुत पछताओगे,

पैसे से भोजन लाओगे,भूख कहा से लाओगे,

पैसे से भोजन लाओगे,भूख कहा से लाओगे,

प्रभु को अगर भूलोगे बंदे,बाद बहुत पछताओगे ॥

TUJHE DEKH KE DIL BHARTA HI NAHI तुझे देख के दिल भरता ही नहीं

 मोहन नैना आपके नौका के आकर

जो जन इनमे इनमे बस सो जान है गए पार।।

आ पिया इन नैनं में पालक धाप तोहे लू
ना मैं तोहे देखु गैर को न तोहे देखन दूँ।।

तुझे देख के दिल भरता ही नहीं
अब जाऊं कहां मैं सांवरिया।।

पीया छोड़ गए दिल तोड़ गए दिल
अब बांके फिरू मैं बावरिया
अब बांके फिरू मैं बावरिया।।

तुझे देख के दिल भरता ही नहीं
अब जाऊं कहां मैं सांवरिया।।

तिरछी चितवन बाकी है अदा
तेरे नैन कटीले कजरारे
अब तेरे बिना जी लगता नहीं
अब काहे सताए सांवरिया तेरी।।

तुझे देख के दिल भरता ही नहीं
अब जाऊं कहां मैं सांवरिया।।

मुरली की मीठी तानों पर
दिल मेरा कन्हैया खोने लगा
अब आके सुना दे बांसुरिया
अब मिल भी जाओ सांवरिया।।

तुझे देख के दिल भरता ही नहीं
अब जाऊं कहां मैं सांवरिया।।

तेरे सिर पे सीताराम फिकर फिर क्या करना

 


तेरे सिर पे सीताराम फिकर फिर क्या करना
तेरे बिगड़े बनेंगे काम फिकर फिर क्या करना
तेरे सिर पे सीताराम फिकर फिर क्या करना

एक रघुवर श्री जानकी मैया
फिर क्यों परेशान हो भैया
तेरे कटेंगे कष्ट तमाम फिकर फिर क्या करना
तेरे सिर पे सीताराम फिकर फिर क्या करना

योजन राम कथा सत्संगी
उनके सहायक श्री बजरंगी
अतुलित बल के धाम फिकर फिर क्या करना
तेरे सिर पे सीताराम फिकर फिर क्या करना

अगर प्रभु मनमानी करेंगे
नहीं शरणागत की पीर हरेंगे
होगा बिरथ बदनाम फिकर फिर क्या करना
तेरे सिर पे सीताराम फिकर फिर क्या करना

अब बेकार ना आह भरो तुम
नहीं व्यर्थ परवाह करो तुम
रटो रामजी का नाम फिकर फिर क्या करना
तेरे सिर पे सीताराम फिकर फिर क्या करना
तेरे बिगड़े बनेंगे काम फिकर फिर क्या करना

RAM KO MANG LE MERE PYARE राम को मांग ले मेरे प्यारे

 राम को मांग ले मेरे प्यारे,

उमर भर को सहारा मिलेगा,
राम को माँग ले मेरे प्यारे,
उम्र भर को सहारा मिलेगा,
सिर्फ इनकी शरण ही में तुझको,
सिर्फ इनकी शरण में ही सबको,
जिंदगी भर गुज़ारा मिलेगा,
राम को मांग ले मेरे प्यारे,
उम्र भर को सहारा मिलेगा।

कितना दो हाथों से ले सकेगा,
देने वाले की है लाख बाँहें,
इनका दामन पकड़ कर तो देखो,
(इसकी बाँह पकड़ कर तो देखों)
ख़ुशनुमा सा नज़ारा मिलेगा,
राम को मांग ले मेरे प्यारे,
उम्र भर को सहारा मिलेगा।
(राम को माँग ले मेरे प्यारे,
उम्र भर को सहारा मिलेगा। )

खुद को तनहा समझता है तू,
जर्रे जर्रे में है ये समाया,
(कण कण में वह समाया है)
दुख में आवाज देकर तो देखों,
दिल से आवाज देकर तो देखो,
कौशल्या का दुलारा मिलेगा,
राम को मांग ले मेरे प्यारे,
उम्र भर को सहारा मिलेगा।
(राम को माँग ले मेरे प्यारे,
उम्र भर को सहारा मिलेगा। )

रुप नैनों में इनका बसा लो,
नाम लेते रहो चलते फिरते,
चाहे तूफां हो या भँवर हो,
हर सफर में किनारा मिलेगा
राम को मांग ले मेरे प्यारे,
उम्र भर को सहारा मिलेगा।

राम को मांग ले मेरे प्यारे,
उमर भर को सहारा मिलेगा,
राम को माँग ले मेरे प्यारे,
उम्र भर को सहारा मिलेगा,
सिर्फ इनकी शरण ही में तुझको,
सिर्फ इनकी शरण में ही सबको,
जिंदगी भर गुज़ारा मिलेगा,
राम को मांग ले मेरे प्यारे,
उम्र भर को सहारा मिलेगा।

हम सांस ले रहे है इस जान की बदौलत, SHRI RAM KI BADOLAT

 हम सांस ले रहे है इस जान की बदौलत,

और जान जिस्म में है श्री राम की बदौलत


श्री राम नाम जप के लंका से जीत आए,

हनुमान सिद्धि पा गए हरि नाम की बदौलत,

हम सांस ले रहे हैं....


कुछ पुण्य हो रहा है जो सूरज निकल रहा है,

धरती थमी है सदियों से इंसान की बदौलत,

हम सांस ले रहे हैं...


हमें  गर्व हो रहा है विज्ञान की बदौलत,

विज्ञान का वजूद है भगवान की बदौलत,

हम सांस ले रहे हैं...


मेरे लिए अतिथि भगवान के बराबर,

सर करते है न्यौछावर मेहमान के बदौलत,

हम सांस ले रहे हैं...


लब पे हंसी नहीं तो जीना भी है क्या जीना,

पहचान है जहाँ में मुस्कान की बदौलत,

हम सांस ले रहे हैं...