खाटू श्यामजी लेबलों वाले संदेश दिखाए जा रहे हैं. सभी संदेश दिखाएं
खाटू श्यामजी लेबलों वाले संदेश दिखाए जा रहे हैं. सभी संदेश दिखाएं

एक अरज मेरी सुन लो, सरकार मेरे दाता

मेरे बाँके बिहारी मोपे कृपा करो ..........
एक अरज मेरी सुन लो, सरकार मेरे दाता
एक अरज मेरी सुन लो, सरकार मेरे दाता
करदो अधम की नैया, भव पार मेरे दाता

करदो अधम की नैया, भव पार मेरे दाता 

तुम हो अधम जनों का उद्धार करने वाले

तुम हो अधम जनों का उद्धार करने वाले
उद्धार करने वाले
मैं हूँ अधम जनों का सरदार मेरे दाता

एक अरज मेरी सुन लो, सरकार मेरे दाता
करदो अधम की नैया, भव पार मेरे दाता

करुणा निधान करुणा, करनी पड़ेगी तुमको
करुणा निधान करुणा, करनी पड़ेगी तुमको
करनी पड़ेगी तुमको
तब ही तो कहते तुमको, करतार मेरे दाता

एक अरज मेरी सुन लो, सरकार मेरे दाता
करदो अधम की नैया, भव पार मेरे दाता
मेरे बाँके बिहारी की ऊंची अटरिया 
मोसे उतरो  चढ़ो ना  जाए 
कोई कहदो मेरे श्याम से
 मेरी बहियाँ पकड़ ले जाए 

अच्छा हूँ या बुरा हूँ, प्रभु दास हूँ तुम्हारा
अच्छा हूँ या बुरा हूँ, प्रभु दास हूँ तुम्हारा
प्रभु दास हूँ तुम्हारा
जीवन था मेरे तुम पर, सब भार तुमपर दाता

उठाव - मेरे बाँके बिहारी मोपे कृपा करो ..........

एक अरज मेरी सुन लो, सरकार मेरे दाता
करदो अधम की नैया, भव पार मेरे दाता

एक भक्त की है विनती, भक्तों में कर लो गिनती
एक भक्त की है विनती, भक्तों में कर लो गिनती
भक्तों में कर लो गिनती
कर दो सभी पे इतना, उपकार मेरे दाता

एक अरज मेरी सुन लो, सरकार मेरे दाता
एक अरज मेरी सुन लो, सरकार मेरे दाता
करदो अधम की नैया, भव पार मेरे दाता
करदो अधम की नैया, भव पार मेरे दाता

उठाव - मेरे बाँके बिहारी मोपे कृपा करो ..........

DARBAR ME KHATU WALE KE _ दरबार में खाटू वाले के दुःख


                       दरबार में खाटू वाले के दुःख 

तर्ज - क्या तुम्हें पता है ए गुलशन

दरबार में खाटू वाले के दुःख दर्द मिटाए जाते है,
गर्दिश के सताए लोग यहाँ सिने से लगाए जाते है,
दरबार में खाटु वाले के दुःख दर्द मिटाए जाते है

ये महफ़िल है मतवालों की हर भक्त यहाँ मतवाला है,
भर भर के जाम इबादत के यहाँ खूब पिलाए जाते है,
दरबार में खाटु वाले के...........

जिन भक्तों पे ऐ जग वालों, है खास इनायत इस दर की
उनको ही बुलावा आता है दरबार बुलाए जाते है,
दरबार में खाटु वाले के.......

किस्मत के मारे कहाँ रहे जिनका ना ठोर ठिकाना है,
जो श्याम शरण में आते है पलकों पे बिठाए जाते है,
दरबार में खाटु वाले के.....

मत घबराओ ऐ जग वालों इस दर पे शीश झुकाने से,
जिनका भी झुका है शीश यहाँ मुकाम वो ऊँचा पाते है,
दरबार में खाटु वाले के.....

UTRA SAGAR ME JO USKO MOTI MILA - उतरा सागर में जो, उसको मोती मिले खोज की जिसने मेरी, मुझे पा गया

 उतरा सागर में उसको ही मोती मिला।
खोज जिसने भी की मैं उसी को मिला।।

उतरा सागर में जो, उसको मोती मिले
खोज की जिसने मेरी, मुझे पा गया

खोज की जिसने मेरी, मुझे पा गया

तूने मूरत  कहा मैं मुरति वान था
तूने पत्थर कहा मैं भी पाषाण  था

ये तो तेरे ही विश्वाश की बात है
ये तो तेरे ही विश्वाश की बात है

धन्ना जात बुलाया मैं झट आ गया
धन्ना जात बुलाया मैं झट आ गया

उतरा सागर में जो, उसको मोती मिले
खोज की जिसने मेरी, मुझे पा गया

ये तो सच है की तूने बुलाया नही
बिन बुलाए कभी मैं भी आया नही

तूने प्रेम से मुझको खिलाया नही
तूने प्रेम से मुझको खिलाया नही
मैं विदुरानी के छिलके तक खा गया
तूने प्रेम से मुझको खिलाया नही

उतरा सागर में जो, उसको मोती मिले
खोज की जिसने मेरी, मुझे पा गया

प्रेम तो प्रेम  है सीधी सी बात है
प्रेम तो प्रेम है सीधी सी बात है
प्रेम कब पूछता  है की क्या जात है
चाहे हिंदू हो चाहे कोई मुसलमान
मुझको रस्खान सलवार पहना गया

खोज की जिसने मेरी मुझे पा गया
नुकता ची संका वाडी को मैना मिला
मुझको तो सबरी का भोलापन  भा गया

उतरा सागर में जो उसको मोती मिले
उतरा सागर में जो उसको मोती मिले

 

 

 



1. तूने मंदिर में ढूँढा मैं पाषाण था,
तूने मस्जिद में ढूँढा मैं आज़ान था।
देख भीतर हूँ तेरे तेरे पास था,
तूने देखा नहीं मैं दिखा भी नहीं।।

2. देह मिट्टी की मिट्टी में मिल जाएगी,
शान तेरी यह सारी ही घुल जाएगी।।
यूँ न अपने जीवन को तू गंवा।
तू टिकाए नहीं मन टिके भी नहीं।।

3. तूने चाहा नहीं मैं मिला भी नहीं।
तूने ढूँढा नहीं मैं दिखा भी नहीं।।
मैं वो मेहमान हूँ बिन बुलाए हुए।
जो कहीं न गया जो कभी न गया।।

उतरा सागर में जो उसको मोती मिले
खोज की जिसने मेरी मुझे पा गया

उतरा सागर में जो उसको मोती मिले
खोज की जिसने मेरी मुझे पा गया

नुकता ची संका वाडी को मैना मिला
मुझको तो सबरी का भोला पं भा गया

उतरा सागर में जो उसको मोती मिले
खोज की जिसने मेरी मुझे पा गया

तूने मूर्ति कहा मैं मूर्ती वान था
तूने पत्थर कहा मैं भी पाशन था

ये तो तेरे ही विश्वाश की बात है
ये तो तेरे ही विश्वाश की बात है

धन्ना जात बुलाया मैं झट आ गया
धन्ना जात बुलाया मैं झट आ गया

उतरा सागर में जो उसको मोती मिले
उतरा सागर में जो उसको मोती मिले
खोज की जिसने मेरी मुझे पा गया

ये कहना ग़लत है की उसका पता नही है
ढूँढने की हद तक कोई धुनता नही

खोज की जिसने मेरी मुझे पा गया
नुकता ची संका वाडी को मैना मिला
मुझको तो सबरी का भोला पं भा गया

ये तो सच है की तूने बुलाया नही
बिन बुलाए कभी मैं भी आया नही

तूने प्रेम से मुझको खिलाया नही
तूने प्रेम से मुझको खिलाया नही
मैं विदुरानी के छिलके तक खा गया
तूने प्रेम से मुझको खिलाया नही

खोज की जिसने मेरी मुझे पा गया
नुकता ची संका वाडी को मैना मिला
मुझको तो सबरी का भोला पं भा गया

प्यार प्यार तो प्यार है सीधी सी बात है
प्यार प्यार तो प्यार है सीधी सी बात है
प्रेम कब पूचहता है की क्या जात है
चाहे हिंदू हो चाहे कोई मुसलमान
मुझको रस्खान सलवार पहना गया

खोज की जिसने मेरी मुझे पा गया
नुकता ची संका वाडी को मैना मिला
मुझको तो सबरी का भोला पं भा गया

उतरा सागर में जो उसको मोती मिले
उतरा सागर में जो उसको मोती मिले

गोविंद गोपाल

यार की मर्ज़ी के आगे
यार का दूं भरके देख
तर्क से मिलता नही
अर्ज़ करके ही तू देख

बे इरादा मरने वेल
बा इरादा मरके देख
सारे तमाशे कर चुका
ये भी तमाशा करके देख
जिंदगी बन जाएगी
तेरे लिए आबे हयात
सब को अपना करके देखा
उनको अपना करके देखा
उनको बना के देख

यार जब तेरा है तो
सारी है तेरी कयनात
जिंदगी पे मरने वेल
जिंदगी में मरके देख

यार की मर्ज़ी के आगे
यार का दूं भरके देख
तर्क से मिलता नही
अर्ज़ करके ही तू देख
अर्ज़ करके ही तू देख

TUMHE DILLAGI BHUL JANI PADEGI - तुम्हें दिल्लगी भूल जाने पड़ेगी


तर्ज - तुम्हें दिल्लगी भूल जाने पड़ेगी
 

कोई श्याम सुन्दर से कह दो ये जाके
भुला क्यों दिया हमे अपना बना के
कोई श्याम सुन्दर से कह दो ये जाके
भुला क्यों दिया हमे अपना बना के
 
अभी मैंने तुमको निहारा नहीं है
तुम्हारे सिवा कोई हमारा नहीं है,
चले क्यों गए श्याम दीवाना बना के
भुला क्यों दिया हमे अपना बना के
कोई श्याम सुन्दर से कह दो ये जाके
भुला क्यों दिया हमे अपना बना के

अभी मेरी आँखों में आसू भरे है
जख्म मेरे दिल के अभी भी हरे है
अगर तुम ना आये तो दिल क्या करेगा
तुम्हारे लिए ही तडपता रहेगा
निभाना नहीं था तो पहले ही कहते
बुझाते हो क्यों आग दिल में लगा के

भुला क्यों दिया हमे अपना बना के
कोई श्याम सुन्दर से कह दो ये जाके
भुला क्यों दिया हमे अपना बना के
भुला क्यों दिया हमे अपना बना के
कोई श्याम सुन्दर से कह दो ये जाके
भुला क्यों दिया हमे अपना बना के 

BELOW THE LINK  https://www.amazon.in/gp/product/B00UZ5AK8M?smid=AT5ERXWN8WQNA&psc=1&linkCode=ll1&tag=dksaini560b-21&linkId=4f015ad236cab26a98d557b04f256e6c&language=en_IN&ref_=as_li_ss_tl